जोधपुर (राजस्थान): जोधपुर, जिसे सन सिटी भी कहा जाता है, एक ऐसा शहर है जो अपनी खूबसूरती के लिए बहुत प्रसिद्ध है। पर, साथ ही यह नगरी नारी के निराशाजनक जीवन को भी दर्शाती है। यहाँ कन्या भ्रूणों को दिन की रौशनी तक देख पाने का अधिकार नहीं, और अगर कुछ जीवित रह भी जाते हैं तो आगे चलकर बर्बस सामाजिक भेदभाव के शिकार बन जाते हैं। समय की मांग को पूरा करते हुए संतुलन अपने उत्साही स्वयंसेवकों द्वारा जोधपुर में विभिन्न आयु-वर्ग की महिलाओं के साथ ऐसी कार्यशालाओं का आयोजन कर रहा है जिनका लक्ष्य उन्हें लिंग के परिप्रेक्ष्य में समझाना है। इन कार्यशालाओं में विचार-उत्तेजक व्याख्यान, संवेदनशील गतिविधियों और लैंगिक क्रांति की ओर दोतरफा चर्चाएं शामिल होती हैं। संतुलन की टीम शहर में प्रचलित लिंग आधारित मुद्दों से अच्छी तरह अवगत है और समाज में फैली पितृसत्ता के मनोवैज्ञानिक रोग के एकमात्र उपचार अर्थात ‘आध्यात्मिक जाग्रति’ से पोषित है।
गाँव तिवरी, निकट जोधपुर, राजस्थान, 14 मई 2019
तिवरी गाँव में 19 लड़कियों के साथ दो घंटों की एक कार्यशाला का आयोजन किया गया जिसमें जीवन में शांति और वैयक्तिकता की कमी और अत्यधिक सहकर्मी दबाव के प्रभाव की चर्चा की गयी। इस कार्यशाला में निम्नलिखित मुख्य आकर्षण रहे:
- युवतियों के जीवन में दिन प्रतिदिन होने वाली चुनौतियों पर संवाद हुआ जिसमें सहकर्मी दबाव पर प्रकाश डाला गया जो कि मनुष्य को नकली व्यक्तित्त्व की ओर धकेलता है।
- आत्मनिरीक्षण के लिए प्रेरित करने व् आंतरिक जगत से जोड़ने के लिए एक संशिप्त ध्यान शिविर का आयोजन हुआ।
कमला नेहरु नगर, जोधपुर, राजस्थान, 16 मई, 2019
C-74 कमला नेहरू नगर 1 पुलिया जोधपुर, राजस्थान में 10 महिला प्रतिभागियों के साथ एक प्रेरक कार्यशाला का आयोजन हुआ जिसमें एकता की शक्ति व् आत्मिक जाग्रति के महत्त्व को समझाया गया। कार्यशाला में निम्नलिखित मुख्य आकर्षण रहे:
- महिलाओं में आत्म मूल्यों की कमी पर चर्चा हुयी जिसके कारण उनके आत्मविश्वास और सामाजिक आचरण पर प्रभाव पड़ता है।
- महिलाओं के विरुद्ध समाज में प्रचलित भ्रांतियों की वास्तविकता को समझने हेतु दोनों लिंगों के लिए शिक्षा की आवश्यकता पर एक परामर्श का आयोजन हुआ।
कमला नेहरु नगर, जोधपुर, राजस्थान, 19 मई, 2019
रोचक खेल और चर्चा के माध्यम से 13 लड़कियों के साथ नारी सशक्तीकरण के वास्तविक सार को समझाने हेतु एक कार्यशाला का आयोजन किया गया। इस कार्यशाला में निम्नलिखित मुख्य आकर्षण रहे :
- महिला सशक्तीकरण की गलत व्याख्या के कारण महिलाओं की निराशाजनक स्थिति पर बातचीत सत्र हुआ।
- महिलाओं को सभी बाधाओं के खिलाफ खड़े होने के लिए दृढ़ संकल्प, आत्म-साक्षात्कार और आत्म-जागरूकता जैसे लक्षणों की आवश्यकता पर चिंतन सत्र हुआ।
- नारी को उसकी क्षमताओं का प्रयोग करने से रोकने वाले कारणों को पहचानने के लिए वभिन्न गतिविधियों का आयोजन हुआ।
- सामाजिक विकास में नारी को उसकी अहम् भूमिका निभाने के लिए प्रेरित करने हेतु “कर हर मैदन फ़तेह” पर आधारित एक नृत्य नाटिका का आयोजन हुआ।
इसी श्रृंखला में देखिये अन्य स्थानों पर आयोजित कार्यक्रमों की भी कुछ झलकियाँ।