लुधियाना (पंजाब): दिव्य ज्योति जाग्रति संस्थान के लिंग समानता कार्यक्रम - संतुलन के अंतर्गत सन् 2016 में “तू है शक्ति” नामक महिला सशक्तिकरण अभियान का उद्घाटन किया गया। इसके अंतर्गत भारत के 8 राज्यों में कन्या भ्रूण हत्या की रोकथाम हेतु महिलाओं को सशक्त करने का बीड़ा उठाया गया। इसी श्रृंखला में 24 फरवरी, 2019 को पंजाब के लुधियाना क्षेत्र में एक भव्य महिला सशक्तिकरण कार्यशाला का आयोजन किया गया।
भारत सरकार की 2009 की कंट्री रिपोर्ट के अनुसार “सशक्तिकरण” का अर्थ है - अशक्त से सशक्त अवस्था की ओर बढ़ना। परन्तु विडंबना, आज एक ओर समाज में महिलाओं ने शिक्षा, स्वावलंबन, अधिकारों के क्षेत्र में शिखरों को छुआ है और दूसरी ओर उन्ही के संग हिंसा एवं अपराध का ग्राफ भी उतना ही बढ़ता जा रहा है; फिर चाहे वो लिंग आधारित हिंसा हो, दहेज़ के कारण मृत्यु हो, उत्पीडन हो, शोषण हो या फिर बढती कन्या भ्रूण हत्या ही क्यों न हो ?
कैसा विरोधाभास है ये ? आज का प्रगतिशील समाज, जो महिला सशक्तिकरण के नाम पर एक ओर महिलाओं को उच्च पद्वियाँ प्रदान करता है और दूसरी ओर यदि महिला अपने अधिकारों के लिए आवाज़ उठाए तो यही समाज उस महिला को प्रताड़ित भी करता है, उस पर दबाव भी डालता है।
अतः संतुलन के “तू है शक्ति” अभियान के अंतर्गत महिला सशक्तिकरण के छत्र पक्ष को लिया जाता है, जहां शैक्षिक, सामाजिक, राजनैतिक एवं बौद्धिक सशक्तिकरण से ऊपर उठकर महिलाओं को अध्यात्मिक सशक्तिकरण भी प्रदान किया जाता है ताकि वे सम्पूर्ण महिला सशक्तिकरण की अभिव्यक्ति बन पाएं। आध्यात्मिक जागरण के सनातन विज्ञान – “ब्रह्मज्ञान” के द्वारा महिलाओं के भीतर आत्मविश्वास को जागृत किया जाता है ताकि वे स्वयं जागकर, अपनी आवाज़ बनकर, अपने संग होने वाली हिंसा, अपराध एवं किसी भी प्रकार की प्रताड़ना या उत्पीडन के विरुद्ध स्वर बुलंद कर पायें।
संस्थान का लिंग समानता कार्यक्रम – संतुलन, राष्ट्रीय स्तर पर अपनी द्विपक्षीय विचारधारा (a) महिलाओं के संग हर प्रकार की हिंसा व पक्षपात का विरोध, एवं (b) महिलाओं का सम्पूर्ण सशक्तिकरण; के आधार पर कार्यरत है।