कलश यात्रा एक पारम्परिक यात्रा हैं जो शुभ धार्मिक उत्सव के आगमन का प्रतीक हैं l कलश सृष्टि और सृजन की शुभ एवं सकारात्मक ऊर्जा का प्रतीक हैं जो सभी सृजन को एक बांधता हैं l कलश में पवित्र नदियों का जल सत्य के अन्नंत ज्ञान का प्रतीक हैं l इस प्रकार कलश अमृता का प्रतीक हैं l दिव्य ज्योति जाग्रति संस्थान द्वारा गुरुदेव श्री आशुतोष महाराज जी की कृपा से 21 सितम्बर 2019 को अबोहर, पंजाब में सात दिवसीय श्रीमद भगवत कथा से पूर्व एक भव्य कलश यात्रा का आयोजन किया गया l
कहा जाता हैं कि बाहरी दुनिया आतंरिक संसार का प्रतिबिम्ब हैं इसलिए शांति की स्थापना के लिए आतंरिक जगत में कार्य करना हैं l हमारे धर्मग्रन्थ, जो आध्यात्मिक ज्ञान के महान खजाने हैं, इस तथ्य का प्रतिपादन करते हैं कि भक्ति मन की शांति प्राप्त करने का मार्ग हैं, क्योकि यह हमे मूलाधार शांति के स्त्रोत अर्थात ईश्वर से जोड़ता हैं और भक्ति की कला को भी सच्चे आध्यात्मिक गुरु से सीखा जा सकता हैं l इस तरह की रेलियो के माध्यम से संस्थान विश्व शांति के लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए आध्यात्मिक उन्नति की यात्रा में भागीदारी के लिए प्रेरित करता हैं l
कलशयात्रा वास्तव में एक शानदार दृश्य होता हैं जहाँ हजारों महिलाएँ स्वयंसेवक अपने सर पर कलश धारण करती हैं तथा बच्चे और पुरुष प्रभु के नाम के जयकारे लगाते हुए पोस्टर पकड़ कर चलते हैं l उनका उत्साह उन्हें समाज में शांति और पवित्रता पुनः स्थापित करने के लिए प्रेरित तथा जाग्रत करता हैं l