नई दिल्ली, भारत

संतुलन, दिव्य ज्योति जागृति संस्थान (DJJS) के महिला सशक्तिकरण और लिंग समानता प्रकल्प, ने24 मार्च 2025 को कॉन्स्टिट्यूशन क्लब ऑफ इंडिया, नई दिल्ली अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस 2025 कोसमर्पित एक भव्य कार्यक्रम का आयोजन किया। इस आयोजन की थीम रही - "Celebrating Empowerment: Equality, Not Extremism," जिसके द्वारा समाज में ‘महिला पुरुष समान सम्मान’ की आवश्यकता पर जोर ज़ोर दिया गया, और विषाक्त नारीवाद को जड़ से ख़त्म करने हेतु चर्चा की गयी।
इस कार्यक्रम में दिल्ली-एन.सी.आर. में अधिकारी पद पर कार्यरत महिलाएं व दिव्य गुरु श्री आशुतोषमहाराज जी की साध्वी शिष्याओं और गृहस्थ शिष्याओं ने भाग लिया और पुरुषों व महिलाओं दोनों केलिए एक समावेशी, तार्किक और आध्यात्मिक रूप से समृद्ध वातावरण के निर्माण का संकल्प लियागया। कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में जम्मू और कश्मीर की प्रिंसिपल रेजिडेंट कमिश्नर डॉ. रश्मिसिंह IAS, उपस्थित रहीं ।

कार्यक्रम के मुख्य आकर्षण इस प्रकार रहे -
Swabhiman: What • Why • How – डॉ. रश्मि सिंह IAS के साथ एक लाइव पोडकास्ट जिसमेंमहिला अधिकारों, सशक्तिकरण और समाजिक समानता के विभिन्न पहलुओं पर चर्चा की गई।
The Courage Jar – एक प्रेरणादायक सत्र जिसने महिलाओं को अपनी कमियों और क्षमताओं कोस्वीकार करने के लिए प्रोत्साहित किया।
Are All Girls & Women, Bad? – संतुलन की निस्वार्थ स्वयंसेविकाओं द्वारा प्रस्तुत नाट्य मंचन, जिसमें टॉक्सिक फेमिनिज़्म और महिलाओं पर अत्याचार के बारे में चर्चा की गई। इस नाटक ने दर्शकोंको यह सोचने पर मजबूर किया कि असली समस्या आखिर क्या है? विषैला नारीवाद या विषैला मानवतावाद?
Opinion Poll: Myth vs. Fact – एक रोचक गतिविधि जिसके माध्यम से प्रतिभागियों ने महिलाओं के विरुद्ध समाज में व्याप्त रूढ़िवादी दृष्टिकोण का विश्लेषण किया।
Shiv-Shakti Balance: Equality, Not Extremism – संतुलन की वैश्विक प्रमुख - साध्वीदीपिका भारती जी द्वारा महिलाओं के सशक्तिकरण के ऐतिहासिक सूत्रों पर एक आकर्षक वार्ता। इससत्र में शामिल रहे -
भारतीय इतिहास में महान विभूतियों के उदाहरण जिन्होंने स्वयं में पुरुष और महिला दोनों केसामंजस्यपूर्ण संतुलन को प्रदर्शित किया।
'देवी' और 'दीवा' शब्दों का सही अर्थ प्राचीन अवधारणाओं के माध्यम से।
एक आकर्षक नृत्य मंचन जिसने कवि-संत कानोपात्रा की कहानी को दर्शाया।
Swabhimani Nari Award – दिल्ली-एनसीआर की नारी शक्ति की असाधारण उपलब्धियों औरयोगदानों का सम्मान करते हुए एक शानदार समारोह। स्वाभिमानी नारी अवार्ड से सम्मानित महिलाओंकी सूची में शामिल रहीं –
श्रीमती सुनीता शर्मा – भारत की पहली महिला क्रिकेट कोच; डॉ. यामिनी गोयल – ICMR मेंवैज्ञानिक, भारत के सबसे बड़े TB वैक्सीन परीक्षण की टीम सदस्य; सुश्री स्मृति मिश्रा – IT कंपनी मेंHR मैनेजर और GoodWorks Trust की संस्थापक; डॉ. निशा खन्ना – प्रसिद्ध मानसिक स्वास्थ्य औरकाउंसलिंग विशेषज्ञ; डॉ. मालती गोयल – पूर्व विज्ञान और प्रौद्योगिकी मंत्रालय अधिकारी; बबलीराजपूत – प्रसिद्ध रग्बी खिलाड़ी; सुश्री निकिता देवान – वरिष्ठ अधिवक्ता और कानूनी सलाहकार; प्रोफेसर सरला भारद्वाज – दिल्ली विश्वविद्यालय के गणित विभाग की वरिष्ठ प्रोफेसर; श्रीमती उषापंजवानी – DRDO में 3 दशकों की सेवा करने वाली प्रसिद्ध शोधकर्ता।
Celebrating Womanhood, Celebrating Empowerment – अंत में, एक मनोरम डांस जैमसत्र हुआ, जहाँ प्रतिभागियों ने महिला सशक्तिकरण पर आधारित गीतों पर नृत्य किया। संगीत के साथउन्होंने अपनी झिझक को त्यागते हुए शक्ति और खुशी को अपनाया।
विशिष्ट अतिथियों की सूची में शामिल रहीं – डॉ. संगीता पाठक – मैक्स अस्पताल, साकेत मेंट्रांस्फ्यूज़न सर्विसेस की प्रमुख; डॉ. सुनीता सक्सेना – राष्ट्रीय पैथोलॉजी संस्थान की पूर्व निदेशक; सुश्रीशीतल शर्मा – अंतर्राष्ट्रीय रग्बी खिलाड़ी; डॉ. कामिनी धीमन – आयुर्वेद संस्थान की प्रोफेसर, गाइनोकोलॉजी और ऑब्सटेट्रिक्स विभाग; डॉ. मीना कश्यप – महिला अध्ययन केंद्र की निदेशक, लालबहादुर शास्त्री संस्कृत विश्वविद्यालय; श्रीमती रेखा अग्रवाल – सुप्रीम कोर्ट की वरिष्ठ वकील; श्रीमतीकिरण सेठी – महिला आत्मरक्षा और पुलिस प्रशिक्षण शिविर आयोजित करने वाली पुलिस अधिकारी; श्रीमती मोनिका अरोड़ा – समर्पित समाजसेवी; श्रीमती ललिता स्वामी – वेदिक डांस थेरेपिस्ट औरकोरियोग्राफर; सुश्री रागिनी तड़े – प्लेबैक सिंगर, मराठी गायक, अंतर्राष्ट्रीय कलाकार; श्रीमती तपस्याशादान – एंकर और रेडियो जॉकी; सुश्री वंदना खन्ना – रिलायंस इंडस्ट्रीज लिमिटेड की वरिष्ठ प्रबंधक; डॉ. तेजस्विनी बुकडे – आयुर्वेद संस्थान की असिस्टेंट प्रोफेसर।
मुख्य अतिथि डॉ. रश्मि सिंह IAS ने कहा कि यह अद्भुत कार्यक्रम महिला सशक्तिकरण के उत्सव औरलिंग समानता को स्थापित करने की प्रतिबद्धता को दर्शाता है। उन्होंने संतुलन के निरंतर प्रयासों की भीसराहना की, जो समाज में महिलाओं के प्रति सम्मान को जागृत करने के लिए किए जा रहे हैं।
निसंदेह यह कार्यक्रम मात्र महिला दिवस का आयोजन नहीं था, बल्कि एक आंदोलन था। अतःवास्तविक संतुलन की ओर लौटने का आह्वान था।
संतुलन, दिव्य गुरु श्री आशुतोष महाराज जी के मार्गदर्शन में महिलाओं के वेदकालीन सम्मान कोपुनर्स्थापित करने की दिशा में कार्यरत है। यह क्रन्तिकारी प्रकल्प महिलाओं को आध्यात्मिक जागृति केमाध्यम से सशक्त करने के लिए निरंतर कार्य कर रहा है, और उन्हें 21वीं सदी की वेदिक महिलाएँ बनानेकी ओर अग्रसर है।
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दिव्य गुरु श्री आशुतोष महाराज जी द्वारा संस्थापित और संचालित - दिव्य ज्योति जाग्रति संस्थान, विश्वमें शांति एवं बंधुत्व की स्थापना हेतु कार्यरत एक सामाजिक व आध्यात्मिक संस्थान है। यह संस्थानअपने नौ मुख्य प्रकल्पों द्वारा समाज में व्यापक परिवर्तन ला रहा है - महिला सशक्तिकरण कार्यक्रम; साक्षरता अभियान; सम्पूर्ण स्वास्थ्य कार्यक्रम; नशा उन्मूलन कार्यक्रम; पर्यावरण संरक्षण कार्यक्रम; भारतीय देसी गौ संवर्धन एवं नस्ल सुधार कार्यक्रम; आपदा प्रबंधन कार्यक्रम; बंदी सुधार कार्यक्रम औरनेत्रहीन एवं दिव्यांगों का सशक्तिकरण कार्यक्रम।