Read in English

भारत भूमि पर माँ गंगा, माँ यमुना, माँ सरस्वती की पवित्र संगम स्थली प्रयागराज में हर 12 वर्षों बाद लगता है आस्था काविराट मेला - कुंभ! ये केवल एक मेला नहीं, बल्कि भारतीय पर्वों की सनातन परंपरा में भव्य पर्व है दिव्य कुंभ। महाकुंभ, कुम्भ मेला का एक दुर्लभ और असाधारण रूप है, जो हर 144 वर्षों में एक बार लगता है। इस वर्ष, 144 वर्षों के बाद, यहबहुप्रतीक्षित महाकुंभ मेला 13 जनवरी से लेकर 26 फरवरी 2025 तक लगा।

DJJS Santulan Hosts Momentous Womens Summit Nari Satyug Layegi at Prayagraj Mahakumbh 2025, Uniting 2,000 Iconic Women Leaders from Uttar Pradesh

दिव्य ज्योति जाग्रति संस्थान (DJJS) एक ऐसी विशिष्ट संस्था है जो आध्यात्मिक, सांस्कृतिक, सृजनात्मक एवंसामाजिक कार्यक्रमों के साथ साथ भगवद गीता की ज्ञानं विज्ञानं सहितं सूक्ति का जन समाज को ब्रह्मज्ञान (ईश्वर दर्शनके सनातन विज्ञान) के माध्यम से प्रयोगात्मक साक्षात्कार भी प्रदान करती है। इस संस्थान ने भी महाकुंभ 2025 में एकभव्य शिविर लगाया।

DJJS के संस्थापक एवं संचालक दिव्य गुरु श्री आशुतोष महाराज जी ने वर्तमान काल में ब्रह्मज्ञान की खोज की औरइसका साक्षात्कार प्राप्त कर इसे स्वयं पर सिद्ध किया और फिर जन मानस के लिए सहज और सुलभ बनाया।दिव्यमहाकुंभ 2025 में DJJS ने ‘आज्ञा चक्र की त्रिवेणी में भी करें संगम स्नान’ का नारा बुलंद किया है। ईश्वर दर्शन कीआधारशिला पर कार्यक्रत DJJS मनुष्य के अंतःकरण में स्थित कुत्सित संस्कारों का रूपांतरण कर मनुष्यों की मानसिकताको परिवर्तित कर रहा है और मानव को श्रेष्ठ मानव बनाने में में प्रयासरत है। नशा उन्मूलन, पर्यावरण संरक्षण, अभावग्रस्तक्षेत्रों में शिक्षा एवं स्वास्थ्य सुविधाएँ मुहैया कराने के साथ साथ गाँव गाँव, गली गली से लेकर बड़े शहरों तक नारी उद्धारहेतु भी DJJS कटिबद्ध है।

DJJS Santulan Hosts Momentous Womens Summit Nari Satyug Layegi at Prayagraj Mahakumbh 2025, Uniting 2,000 Iconic Women Leaders from Uttar Pradesh

अपने महिला सशक्तिकरण अभियान ‘संतुलन’ के अंतर्गत, डीजेजेएस ने 23 जनवरी 2025 को अपने प्रयागराज महाकुंभशिविर में ‘नारी सत्युग लाएगी’महिला समिट का आयोजन किया, जो गंगेश्वर बजरंगदास चौरा, सेक्टर 9, अमिताभपुलिया के पास गोविंदपुर में स्थित था।  दिव्य गुरु श्री आशुतोष महाराज जी का उद्घोष है - जन जन तक अपनाअमृतमयी योगदान पहुंचाएगी। आएगी वह ब्रह्म वेला जब नारी सतयुग लाएगी।। जहाँ कई कई संतों महापुरषों कीभविष्यवाणियां ये कहती आई हैं कि 21वीं सदी नारियों की होगी वहीँ दिव्य गुरु श्री आशुतोष महाराज जी ने 20वीं सदीमें ही ये उद्घोष कर दिया था कि 21वीं सदी नारियों की होगी और 21वीं सदी में नारियां सतयुग की स्थापना करेंगी।

दिव्य महाकुंभ 2025 के इस सबसे बड़े महिला सम्मलेन (नारी कुम्भ) में उत्तर प्रदेश से 2,000 अधिकारी पद पर कार्यरतमहिलाओं ने भाग लिया!

कार्यक्रम में एक विचारोत्तेजक पैनल चर्चा का आयोजन किया गया, जिसमें मुख्य अतिथि, डॉ. बबीता सिंह चौहान, अध्यक्ष, उत्तर प्रदेश राज्य महिला आयोग, और आईएएस अधिकारी डॉ. रश्मि सिंह, जो उत्तर प्रदेश के भारतीयप्रशासनिक अधिकारियों के पत्नी संघ ‘आकांक्षा समिति’ की अध्यक्ष हैं, ने महिला सशक्तिकरण पर अपने विचारोंको व्यक्त किया। इसके अतिरिक्त, ब्रह्मज्ञानी सन्यासी साध्वियों के म्यूजिकल बैण्ड द्वारा एक संवेदनात्मक संगीतमयीप्रस्तुति रही। इसके साथ ही, साहस और सफलता की ऊंचाइयों को छूने वाली आदर्श महिलाओं को ‘संतुलन स्वाभिमानीनारी अवार्ड’से सम्मानित भी किया गया। इसके उपरान्त ‘तू है शक्ति 2.0’ महिला सशक्तिकरण अभियान (पूर्वी यूपीअध्याय) की महिला राजदूतों का चयन एवं सम्मान किया गया। और प्रेरणादायक महिलाओं को ‘तू है शक्ति 2.0’ महिला सशक्तिकरण अभियान (पूर्वी यूपी अध्याय) को सहकर्मी शिक्षकों के रूप में नियुक्त किया गया।

संतुलन (महिला सशक्तिकरण प्रकल्प, DJJS) के अंतर्गत पिछले 20 वर्षों में देश भर में लाखों महिलाओं का सम्पूर्णसशक्तिकरण किया गया है। सन् 2016 में संतुलन के द्वारा एक विलक्षण ‘तू है शक्ति’ मुहीम आरम्भ की गयी थी जिसकेअंतर्गत भारत के 8 राज्यों में 150 ‘जेंडर क्रिटिकल’ डिस्ट्रिक्टों में 6000 गाँव, कस्बे और शहरों में अभियान चलाये गए। सन् 2016 से सन् 2020 तक उत्तर प्रदेश के लगभग 3,03,300 परिवारों को काउन्सलिंग व कार्यशालाओं के माध्यम सेमहिला सम्मान और बेटियों के उत्थान हेतु उन्हें सशक्त किया गया। सन् 2020 से सन् 2023 तक ऑनलाइन प्लेटफ़ॉर्मोंपर देश ही नहीं विदेशों में रहने वाली महिलाओं का भी वेबिनारों के माध्यम से सशक्तिकरण किया गया। ‘तू है शक्ति’अभियान की लोकप्रियता और पब्लिक डिमांड पर सन् 2024 में फिर इसी अभियान के विश्व स्तरीय द्वितीय चरण ‘तू हैशक्ति 2.0’ का लोकार्पण दिल्ली स्थित Constitution Club of India में किया गया।

उक्त समिट ने ‘तू है शक्ति 2.0’ अभियान के पूर्वी उत्तर प्रदेश अध्याय का भव्य शुभारंभ किया।

पूर्वी उत्तर प्रदेश से निम्नलिखित महिलाओं को 'तू है शक्ति 2.0' पीयर एजुकेटर्स के रूप में नियुक्त किया गया -

●​श्रीमती नम्रता मिश्रा – शिक्षिका, योग विशेषज्ञ, न्यूट्रिशनिस्ट, संजीवनी न्यूट्रिशन सेंटर

●​श्रीमती अंशु अग्रवाल – युवा एवं एक्यूप्रेशर सेवा विशेषज्ञ

●​डॉ. अनुराधा श्रीवास्तव – वैज्ञानिक सचिव, इलाहाबाद मेडिकल एसोसिएशन

●​श्रीमती मोना जायसवाल – ऑनलाइन ज्वेलरी व्यवसायी

●​श्रीमती ज्योति मिश्रा – हार्टफुलनेस उत्तर प्रदेश समन्वयक, प्रमाणित ध्यान प्रशिक्षक, मोटिवेशनल स्पीकर, काउंसलर, शिक्षाविद

●​श्रीमती पूनम चौरसिया – एनएचआरसीसीबी जिला स्तर उपाध्यक्ष

पूर्वी उत्तर प्रदेश से निम्नलिखित महिलाओं को 'तू है शक्ति 2.0' एंबेसडर्स  के रूप में नियुक्त किया गया -

●​श्रीमती अनुरागिनी सिंह – उत्तर प्रदेश महिला शिक्षा संग अध्यक्ष

●​श्रीमती दिव्या बार्तारिया – डीन, एनएचआरडीएन, TEDx स्पीकर, यूनाइटेड ग्रुप ऑफ इंस्टीट्यूशन प्रयागराज

●​श्रीमती सुमिता कमठान – उद्यमी (हस्तशिल्प उत्पाद), पूर्व में राज्य उद्योग विभाग में अधिकारी

●​डॉ. अंजलि केसरी – सामाजिक कार्यकर्ता

●​श्रीमती रोशनी अग्रवाल – सामाजिक कार्यकर्ता, नारी शक्ति, अध्यक्ष अखंड हिंद क्रांति सेना, प्रदेश उपाध्यक्षअखंड हिंद फौज महिला इकाई

●​श्रीमती पल्लवी अरोड़ा – व्यापार मंडल महिला अध्यक्ष

●​श्रीमती के. राशी बडालिया कुमार – शिक्षाविद, लेखिका, कवयित्री, रेडियो प्रसारक, सिटिजन जर्नलिस्ट, फैशन डिजाइनिंग प्रोफेसर – इलाहाबाद विश्वविद्यालय

●​श्रीमती मनोज मिश्रा – प्रधानाचार्य, केपी इंटर गर्ल्स कॉलेज

●​श्रीमती रचना मौर्य (डॉ. वंदना श्रीवास्तव, उनकी वरिष्ठ) – महासचिव, ब्लॉक (जसरा), यूपी वुमेन टीचर्सएसोसिएशन, प्रयागराज

●​डॉ. वत्सला मिश्रा – नेशनल एसोसिएट डीन, इंडियन कॉलेज, डीन, इंडियन कॉलेज ऑफ पैथोलॉजिस्ट्स(ICP)

साध्वी दीपिका भारती जी, संतुलन की वैश्विक प्रमुख ने बताया - "जहाँ महिलाओं की प्रगति का ग्राफ ऊपर की ओर बढ़रहा है वहीँ महिलाओं के साथ हिंसा एवं अपराध का ग्राफ भी ऊपर ही जा रहा है। ऐसे में ये विचारना ज़रूरी हो जाता हैकि क्या महिलाएं सच में सशक्त हो रही हैं? शायद नहीं! वास्तव में शैक्षणिक, आर्थिक, सामाजिक, राजनीतिकसशक्तिकरण का आधारभूत केंद्र आध्यात्मिक सशक्तिकरण है। वह सशक्तिकरण जो पाया माता पार्वती ने जिसके द्वारावो फिर अपने पूर्ण वर्चस्व में आई और दुर्गा बन गयीं।  उसी सशक्तिकरण को पाया संत मीराबाई ने, रानी लक्ष्मीबाई ने, ब्रह्मवादिनी गार्गी ने, मैत्रेयी ने, सुलभा ने, घोषा एवं और बहुत सी वैदिक नारियों ने।" साध्वी दीपिका भारती जी ने ज़ोरदेकर इस कार्यक्रम में बुलंद उद्घोष किया कि आज महिला सशक्तिकरण की उसी वैदिक धारा को पुनर्जागृत किया हैदिव्य गुरु श्री आशुतोष महाराज जी ने। "गुरुदेव के आशीर्वाद से भारत में लगभग 6.5 लाख कन्यायें व महिलाएं ब्रह्मज्ञानके माध्यम से आध्यात्मिक स्तर पर सशक्त होकर सम्पूर्ण सशक्तिकरण के मार्ग पर अग्रसर हैं। इनमे से 60,000 कन्यायें वमहिलाएं संतुलन प्रकल्प के अंतर्गत उत्साहित स्वयंसेविकाओं के रूप में देश भर में अग्रणी भूमिका निभा रही हैं।  संस्थानमें लगभग 6000 विद्वत्त एवं प्रबुद्ध सन्यासी साध्वियां हैं जो जम्मू कश्मीर से तमिल नाडू तक और गुजरात से असम तकफैले संस्थान के आश्रमों के माध्यम से बहुसंख्यक समाक में महिलाओं के सम्मान की उसी गरिमा को पुनार्स्थापित कर रहीहैं जो उज्जवल भारत के इतिहास में हुआ करती थी।" साध्वी दीपिका भारती जी ने फिर बताया कि दिव्य ज्योति जाग्रतिसंस्थान की मैनेजमेंट में 80% कार्यभार सँभालने वाली भी आज की वैदिक नारियां, श्री आशुतोष महाराज जी की साध्वीशिष्याएं ही हैं।

‘नारी सतयुग लाएगी' समिट में प्राचीनकाल की आध्यात्मिक रूप से सशक्त महिलाओं के अनेक प्रेरणादायक उदाहरणोंको उजागर किया गया। रानी लक्ष्मीबाई के संघर्ष से विजय तक की यात्रा को मनोरम संगीतमय प्रस्तुति के माध्यम सेप्रदर्शित किया गया। इसमें प्रसिद्ध कविता "बुंदेले हरबोलों के मुख से..." को बहुत  सुंदर ढंग से प्रस्तुत किया गया।दिव्य गुरु श्री आशुतोष महाराज जी की साध्वी शिष्याओं द्वारा इस प्रेरणादायक प्रस्तुति ने दर्शकों में उत्साह और प्रेरणाका संचार किया।

संतुलन, दिव्य गुरु श्री आशुतोष महाराज जी के मार्गदर्शन में महिलाओं के वेदकालीन सम्मान को पुनर्स्थापित करने कीदिशा में कार्यरत है। यह क्रन्तिकारी प्रकल्प महिलाओं को आध्यात्मिक जागृति के माध्यम से सशक्त करने के लिए निरंतरकार्य कर रहा है, और उन्हें 21वीं सदी की वेदिक महिलाएँ बनाने की ओर अग्रसर है।

संतुलन के साथ जुड़ें, इंस्टाग्राम, फेसबुक और X पर @DJJSSantulan को फॉलो करें!

दिव्य गुरु श्री आशुतोष महाराज जी द्वारा संस्थापित और संचालित - दिव्य ज्योति जाग्रति संस्थान, विश्व में शांति एवंबंधुत्व की स्थापना हेतु कार्यरत एक सामाजिक व आध्यात्मिक संस्थान है। यह संस्थान अपने नौ मुख्य प्रकल्पों द्वारासमाज में व्यापक परिवर्तन ला रहा है - महिला सशक्तिकरण कार्यक्रम; साक्षरता अभियान; सम्पूर्ण स्वास्थ्य कार्यक्रम; नशा उन्मूलन कार्यक्रम; पर्यावरण संरक्षण कार्यक्रम; भारतीय देसी गौ संवर्धन एवं नस्ल सुधार कार्यक्रम; आपदा प्रबंधनकार्यक्रम; बंदी सुधार कार्यक्रम और नेत्रहीन एवं दिव्यांगों का सशक्तिकरण कार्यक्रम।

Subscribe Newsletter

Subscribe below to receive our News & Events each month in your inbox