गुरुदेव श्री आशुतोष महाराज जी के दिव्य मार्गदर्शन में दिव्य ज्योति जाग्रति संस्थान (डीजेजेएस) द्वारा 19 से 25 नवंबर 2023 तक पंचकुला, हरियाणा में सात दिवसीय श्रीमद्भागवत कथा का आयोजन किया गया। कथा का मुख्य उद्देश्य आध्यात्मिकता के वास्तविक अर्थ को उजागर कर उस 'दिव्य-ज्ञान' को प्रकट करना था जो कुरुक्षेत्र की युद्ध भूमि में भगवान श्रीकृष्ण द्वारा अर्जुन को प्रदान किया गया था। कार्यक्रम में स्पष्ट रूप से शाश्वत शांति के मार्ग को अपनाने और उसे अपने दैनिक जीवन में आत्मसात करने की प्रेरणा दी गयी। आयोजन के प्रत्येक दिन हजारों भक्त उपस्थित हुए और स्वयं को अनुग्रहित किया। कार्यक्रम आरम्भ होने से एक दिन पहले, भक्तों ने कलश यात्रा में भाग लिया और आस-पास के सभी लोगों को आने वाले कार्यक्रम में शामिल होने और अपनी आध्यात्मिक तृष्णा को शांत करने के लिए आमंत्रित किया।
कार्यक्रम में श्री आशुतोष महाराज जी की शिष्या एवं कथा-व्यास साध्वी कालिंदी भारती जी ने आज के समय में आध्यात्मिकता की आवश्यकता को उत्कृष्ट रूप से व्यक्त किया। उन्होंने श्रीमद भागवद महापुराण के उपदेशों को बहुत सुंदरता से सुनाया और बताया कि कैसे अधिकांश प्रसंग आज के समय में भी प्रासंगिक हैं, जो हम सभी को अपने दुर्गुणों से लड़ने और गुणों को व्यक्त करने के लिए सशक्त बना सकते हैं। भगवान श्रीकृष्ण एक सिद्ध निर्देशक और आध्यात्मिक गुरु के साथ प्रेम, ज्ञान और मार्ग-दर्शन के लिए भी प्रख्यात हैं। आज के समय में हम उन्हें एक व्यवहार कुशल, नैतिक अभ्यासी, अंतर्यामी, रणनीतिक योजनाकार, संकट प्रबंधक आदि के रूप में देखते हैं, लेकिन वे आध्यात्मिक ज्ञान के भी स्त्रोत हैं। वे पृथ्वी पर धर्म की स्थापना के अपने लक्ष्य के प्रति सदा उत्साह से भरे रहे व उन्होंने अर्जुन को 'दिव्य ज्ञान' प्रदान करके अपने लक्ष्य को सफलतापूर्वक पूर्ण किया।
आज हमें भी ऐसे आध्यात्मिक गुरु की आवश्यकता है, जो हमारे मन से अज्ञान के मेघों को हटा कर हमें ज्ञान रुपी सूर्य के प्रकाश से सशक्त बनाये। आज के इस अंधकारमय युग में नकारात्मकता, दुर्गुण बहुत तेजी से फैल रहे हैं, और असंख्य भौतिकवादी वस्तुएं हासिल करने के उपरांत भी लोग मानसिक और शारीरिक रोगों से ग्रस्त हैं। वे अपने अंदर शून्यता को महसूस कर रहे हैं। ऐसे में, गुरुदेव श्री आशुतोष महाराज जी प्रत्येक आत्मा को जागृत कर रहे हैं और उन्हें 'ब्रह्मज्ञान' की विधि के माध्यम से ज्ञान, सकारात्मकता, समृद्धि, सुख, प्रेम और शांति के स्रोत से जोड़ रहे हैं।
श्रद्धालुओं, अतिथियों और दर्शकों ने इस भव्य आयोजन की सराहना की और आयोजकों के प्रति हार्दिक आभार व्यक्त किया। अंतस के चक्षु खोलने वाले आध्यात्मिक सत्रों के साथ-साथ आत्मा को झकझोर देने वाले भक्ति गीतों ने उन्हें हर क्षण दिव्यता का आलिंगन कराया। सत्य की खोज करने वाले श्रद्धालुओं ने 'दिव्य ज्ञान' की प्रक्रिया के माध्यम से अपने अंतर्घट में 'ईश्वर' का दर्शन कर स्वयं को कृतार्थ महसूस किया। डीजेजेएस ने समाज के परम हित और कल्याण के लिए सत्य का मार्ग दिखाकर सभी के दिलों में चिरस्थायी स्थान बनाया।